प्यासी चू.. ढीला लं.. Hot Love Story

0
346
Hindi Garam Kahani (Love Story)
Hindi Garam Kahani (Love Story)

दोस्तों इस Hot Love Story को पढ़कर आप समझ पायेंगे कि बहुत ज्यादा ‘हिलाने’ से क्या नुकसान हो सकता है? इस कहानी में भी धीरज के साथ यही हुआ इतनी मू.. मारी की चू… मारने के लायक नहीं रहा.. फिर क्या हुआ जानने के लिए कहानी को पूरा पढ़ें और रोमांच का मजा लें।

दोस्तों कैसे हैं आप.. मेरा नाम विरेन है और आज मैं आपको अपने एक खास मित्र की ऐसी गरम कहानी सुनाने जा रहा हूं।

जिसे सुनकर आप भी इतने गरम हो जाओगे। आपको अपनी गर्मी निकालने के लिए बाथरूम में घुसना पड़ जाये।

आपका नीजि सामान नल्ला भी हो सकता है। कहीं हो ऐसा ना हो कि मेरे मित्र की ही तरह। बहुत ज्यादा हिलाने की आदत से आपका डंडा भी खड़ा होना बंद हो जाये।
जी हां दोस्तों। कहानी कुछ इस तरह है..

मेरा दोस्ता जिसका नाम है धीरज। हम दोनों ही हम उम्र थे। यानी हम दोनों की उम्र 17 साल थी। धीरज ने इस चढ़ती जवानी में मूठ मारना शुरू कर दिया था। कहीं भी सुंदर, चिकनी लड़की दिखी नहीं कि उसके कच्छे के अंदर जबरदस्त हलचल होना शुरू हो जाती थी।

फिर तो घर पहुंचकर वह सीधा बाथरूम में ही घुसता और बुरी तरह अपने सख्त डंडे की खबर लेता। अपने शैतान तोते की गर्दन को ऐसे हाथों में दबोच लेता कि बेचारा घबरा कर कुछ ही देर में सफेद चिपचिपी उल्टी कर देता था।

यह गरम की कहानी आप MastRamKiKahani.com पर पढ़ रहे हैं..

इस काम में धीरज को इतना मजा आता था कि उसे लगता कि वह सचमुच में किसी चिकनी लड़की की नीचे की अंधेरी खोली में अपना डंडा चला रहा है। ये सब मुझे कैसे पता है ये आपको कहानी में आगे चलकर पता चल जायेगा दोस्तों। आप बस कहानी सुनें और मजा लें।

धीरे-धीरे धीरज को हिलाने की इतनी बुरी आदत लग चुकी थी कि दिन हो या रात। जब भी उसे मौका मिलता। वो मोबाइल पर पोर्न अश्लील वीडियो देखकर हाथ ही चलाने पर लगा रहता था। मुझे तो हंसी ये सोचकर आती थी, दोस्तों कि साले के हाथ भी नहीं थकते थे। खैर मुझे क्या था। हाथ उसके और हाथ में जकड़ा हुआ सख्त कैदी भी उसका। जो मर्जी करे।

इसी तरह धीरज 22 साल को हो चुका था। यानी 5 साल से वह लगातार हिला रहा था और अपनी सारी सफेदी बाथरूम के नाले में बहा रहा था। लेकिन उसे क्या पता था कि इन 5 सालों में उसने अपने मासूम तोते की क्या हालत बना दी थी।

उसके होश तो तब उड़े जब वह एक दिन अपनी प्रेमिका को एक होटल में लेकर गया था घपाघप-घपाघप करने की सोचकर। अब यहीं से कहानी अलग मोड़ लेती है दोस्तों, जब मुझे धीरज से ही पता चला था कि वह 17 साल से लगातार हिला रहा था। और जब सचमुच में कुछ करने की बारी आई, तो… उसके तोते की जान ही निकल चुकी थी। आप समझ ही गये होंगे।

यानी कि खोदन खोदन सब करे, पर खोद सके ना कोय। जब खोदन की बारी आई सामान खड़ो ना होए।

दोस्तों आगे की कहानी मैं धीरज की जुबानी सुनाना चाहूंगा जिसके नीजी सामान ने सख्त होना छोड़ दिया था। उस दिन होटल में क्या हुआ था..? क्या वाकई धीरज नपुंसकता शिकार हो गया था? अगर वह सचमुच हो गया था तो कैसे उसने अपनी नपुंसकता यानी नामर्दी को ठीक किया। ये सब आपको कहानी के अंत तक पता चल जायेगा। बस आप कहानी में बने रहिए..

किसी भी सेक्स समस्या के लिए.. SexSamasya.com

धीरज जब 22 साल का हुआ तो उसकी एक गर्लफ्रैंड बन गई जिसका नाम था सोनिया। जब पहली बार धीरज ने मुझे सोनिया से मिलाया था, तो कसम से मैं सोनिया को देखता रह गया था। सोनिया गोरी इतनी चिकनी और सेक्सी बदन की थी कि एक बार तो मेरा ईमान भी डोल गया था।

उसके टाईट टीशर्ट में उठे हुए सख्त संतरे ऐसे लग रहे थे, मानों टीशर्ट को चीकर बाहर आना चाहते हों। पीछे से टाइर्ट जीन्स में बाहर को शेप में उठी हुई उसकी सांड.. इतनी मस्त लग रही थी मेरे भी जी में आ रहा था कि बस एक बार इसकी सांड मिल जाये। फिर चाहे धीरज इसके साथ सारी जिंदगी जितनी मर्जी सांडगिरी करता रहे।

खैर मैंने खुद को अपने नीचे के बेईमान जानवर को समझाया और धीरज की कहानी सुनने लगा..

चलिए दोस्तों आगे की कहानी सुनते हैं धीरज की जुबानी.. जो आपबीती उसने मुझे यानी विरेन को सुनाई थी।

‘‘यार विरेन मैं किसी तरह सोनिया को मनाकर होटल में आ चुका था। सोनिया भी अच्छी तरह जानती थी कि आज मेरे अरमान क्या हैं? क्योंकि मैंने ऊपर-ऊपर से तो सोनिया के रसभरे बदन के खूब मजे लिए थे। लेकिन सही वक्त और सही जगह ना होने के कारण आजतक सोनिया कि चिकनी गुलाबी दुनियां में नहीं घुस सका था।

जब कभी मैं पब्लिक प्लेस में या पार्क वगैरह में सोनिया सख्त कबूतरों को टीशर्ट के ऊपर से ही दबा देता था, तो सोनिया बिदक जाती थी और बोलती, ‘‘पालग हो क्या? कोई देख लेगा तो..’’

‘‘अभी तक मैंने ही नहीं देखे तो और कोई क्या देखेगा?’’ कहकर मैंने दोबारा सोनिया के सख्त कबूतरों को दबा दिया। इस पर हम दोनों खिलखिलाकर हंसने लगे।

सोनिया मुस्करा कर बोली, ‘‘बड़े शैतान होते जो रहो तुम।’’

‘‘अजी आपने बंदे को मौका ही कहां दिया है।’’ इतना कहकर मैंने सोनिया के टीशर्ट के अंदर ही हाथ डाल दिये और बोला, ‘‘मौका को तो दो कभी, फिर पता चलेगा तुम्हें कि शैतानी किसे कहते हैं?’’

‘‘कसम से यार विरेन उसके सख्त कबूतरों को मैंने उस दिन जैसे पहली बार अंदर से टच किया, तो इतने मुलायम शेप में थे कि जी में आया कि यहीं आज अपनी तसल्ली कर लूं।’’ लेकिन बात बन नहीं सकी। बस तभी से तेरे भाई ने सोच लिया था कि सोनिया को होटल में ही लेजाकर अच्छी तरह से बजाऊंगा।’’

‘‘हां हां.. तू आगे बता ना फिर क्या हुआ?’’

इस पर धीरज मुस्करा कर बोला, ‘‘तू बड़ा बेचैन हो रहा है मुझे सोनिया पर चढ़ाने के लिए।’’

मैं भी मुस्कराया और बोला, ‘‘अरे नहीं यार! तू कह रहा था ना कि कुछ हो नहीं पाया। तेरा सामान ही खड़ा नहीं हुआ। बस वही चिंता है।’’

‘‘अबे रहने दे।’’ धीरज फिर मुस्करा कर बोला, ‘‘जानता हूं कितनी चिंता है तुझे मेरे सामान की। ले फिर सुन।’’

फिर धीरज ने आगे सुनाया, ‘‘मैं और सोनिया जैसे ही होटल के कमरे में पहुंचे। मैंने अंदर से लॉक किया और सीधा सोनिया को बांहों में दबोच लिया। और ताबड़ तोड़ एक के बाद एक किस्स उसके गुलाबी होंठों पर लेता रहा।’’

सोनिया ने अपने आपको छुड़ाते हुए कसमसा कर कहा, ‘‘लगता है भूखे शेर हो। पूरा गोश्त ही निगल जाओगे आज तो।’’

‘‘हां सोनिया मैं बहुत बेकरारा हूं।’’ कहकर मैंने सोनिया के टीशर्ट को ऊपर कर दिया और उसके ब्रा के अंदर हाथ डालकर उसके संतरों को सहलाने लगा।

सोनिया भी मुझसे लिपट गई। मैंने मौका देखा और पूरी टीशर्ट की सोनिया के बदन से अलग कर दी। सोनिया कुछ कहती इससे पहले ही मैंने झट से उसकी ब्रा को भी उसके बदन से अलग कर दिया। अब मेरे सामने लहराते हुए उसके कोमल गोल-गोल कबूतर मेरे सामने थे। जिन्हें देखकर मैं अपना आपा खोता जा रहा था।

सोनिया मारे शर्म और भी लाल हो गई थी। उससे कुछ कहते नहीं बन रहा था। वह मुझसे लिपट गई। मैंने सोनिया को धीरे से बेड पर लेटाया उसके संतरों को मुंह में लेकर उनका रस चूसने लगा। मारे मदहोशी के सोनिया ने अपनी आंखें बंद कर लीं।

मसल्स, बॉडी और वजन बढ़ाने के लिए SehatKaiseBanaye.com

Garam Love Story
Garam Love Story

मैं कभी सोनिया के होठों को चूसता, तो कभी उसके दोनों गोल-गोल संतरों का रस पीता। अब मेरे हौसले बढ़ते जा रहे थे। मैंने धीरे-धीरे सोनिया की जींस के बटन खोलकर जिप को नीचे सरका दिया था। जैसे-तैसे अब तक सोनिया की जींस भी मैंने उतार फेंकी थी।

अब सोनिया केवल अपने एक अंग वस्त्र में मेरे सामने थी। उसकी गोरी गदरायी जांघों को देखकर मेरा जानवर पेंट के अंदर बहुत ज्यादा शोर मचा रहा था। साथ ही मैंने महसूस किया कि मेरे जानवर का मुंह भी थोड़ा-थोड़ा चिपचिपा हो गया था।

मैंने भी अपनी टीशर्ट और बनियार उतार फेंकी और साथ अपनी पेंट भी उतार कर साइड कर दी। अब सोनिया और मैं एक ही हालत में थे। मैंने सोनिया को बुरी तरह अपने सीने से सटा लिया। सोनिया के सख्त संतरे मेरी छाती से दबकर मुझे खूब मजा रहे थे। मैं देख रहा था कि सोनिया को भी ये सब अच्छा लग रहा था।

सोनिया मेरी बांहों में थी और मैंने तभी एक मात्र उसके गुलाबी तन पर पहना वो आखिरी वस्त्र भी उतार दिया। जो हर लड़की की लाज बचाने का आखिरी वस्त्र होता है। अब तो सर लेकर पांव तक सोनिया मेरे सामने निर्वस्त्र थी।

सोनिया बार-बार शरमा कर अपनी गुलाबी लाज पर हाथ रख लेती और मैं बार-बार उसका हाथ वहां से हटा देता था। सोनिया फिर रखती मैं फिर हाटाता।

इस सिलसिले को खत्म करने के लिए इस बार जैसे ही सोनिया ने हाथ हटाया तो मैंने अपना हाथ वहां रख दिया और बोला, ‘‘सोनिया तुम क्यों कष्ट करती हो। आओ मैं अपने हाथ से तुम्हारी लाज को ढकता हूं।’’ कहकर मैं वहां हौले-हौले वहां अपना हाथ सहलाने लगा।

मैंने देखा कि सोनिया के पैर कांप रहे थे। और उसके होंठों से नशीली आंहें भरने की आवाजें आ रही थीं। मैंने सोनिया को और भी ज्यादा गरम करने के लिए अपने होंठों के करतब उसकी गुलाबी लाज पर दिखाने शुरू कर दिये। सोनिया बुरी तरह मचलने लगी। उसने मेरे सिर को अपनी लाज पर बुरी तरह सटा दिया और सीत्कार भरने लगी, ‘‘ओह..आह.. धीरज अच्छा लग रहा है। कहां से सीखा ये सब।’’

‘‘तुम बसे मजे लो मेरी जान।’’ मैं सोनिया की गुलाबी लाज पर मुंह चलाते हुए बोला, ‘‘बाद में मैं भी ऐसे ही मजे ले लूंगा।’’

‘‘ले लेना मैं कहा मना कर रही हूं।’’ कहकर सोनिया मेरे कच्छे के ऊपर हाथ चलाने लगी। जैसे वो भी मेरे सामान के नजारे लेना चाहती थी।

लेकिन इस बीच मैं महसूस कर रहा था कि मेरे शरीर में तो वासना को तूफान मचा हुआ था, लेकिन असली सामान में वो जान मसहूस नहीं हो रही थी। जितनी होनी चाहिए थी। खैर मैंने सोनिया की इच्छा पूरी की और अपने आखिरी वस्त्र को निकाल कर दूर फेंक दिया।

Vajan Badhane Ki Ayurvedic Dawa - Shakti King
Vajan Badhane Ki Ayurvedic Dawa – Shakti King

सोनिया ने भी महसूस किया कि मेरा सामान ज्यादा टाइट नहीं हुआ था। साथ ही मेरे सामान की बनावट भी अजीब थी। नसें दिख रही थीं। थोड़ा टेढ़ा भी लग रहा था। सोनिया ने मुझे बिस्तर पर पटका और वो मेरे सामान को अपनी गुलाबी लाज को लुटवाने लायक बनाने का प्रयास करने लगी।  

आधे सख्त को पूरा सख्त बनाने की कोशिश करने लगी। इसके लिए वह अपने कोमल हाथों से मेरे तोते को सहलाने लगी। मगर मेरा तोता टस से मस नहीं हो रहा था। मेरी भी समझ में नहीं आ रहा था कि ये हो क्या रहा है।

फिर सोनिया ने अपना आखिरी दांव चलाया। उसने मेरे तोते को मुंह से पुचकारना शुरू कर दिया। उस समय मुझे ऐसे लगा जैसे मैं जीते ही स्वर्गवासी हो गया हूं। यानी मुझे स्वर्ग का आनंद मिल रहा था। सोनिया के गुलाबी होंठो के बीच फंसा मेरा तोता बहुत अच्छा महसूस कर रहा था।

‘‘ओह सोनिया।’’ कहकर मैंने सोनिया का सिर पकड़ कर अपने तोते पर बुरी तरह सटा दिया।

बेचारी सोनिया, ‘‘उम. गों…गों करती रह गई।’’

पर वह भी मेरे मुरझाये तोते में जान भरना चाहती थी ताकि अपनी लाज के घोंसले में मेरे तोते को अंदर तक पनाह देकर। अपनी लाज को लुटवा सके। जिसमें वह कामयाब भी हो गई थी। और मेरी भी जान में जान आई कि शुक्र है इज्जत बच गई। वरना नामर्दी का सर्टीफिकेट आज मिलने वाला था।

किसी भी सेक्स समस्या के लिए.. SexSamasya.com

Hot Love Story
Hot Love Story

अब तो मैं सोनिया से और सोनिया मुझसे बुरी तरह लिपट गये। फिर सोनिया ने मेरे कान के पास फुसफुसाते हुए कहा, ‘‘मेरे जानूं। बेशक नाम तुम्हारा धीरज है। लेकिन मैं अपना धीरज खोती जा रही हूं। चलो ना अब शुरू हो जाओ।’’

कसम से सोनिया की इस अदा पर मैं मर-मिटा। फिर जैसे ही मैंने अपने तोते पर थूक लगाकर सोनिया की अंधेरी लाज में धकेला। सोनिया की एक जोरदार चीख निकल गई, ‘‘आई मम्मी।’’ उसने मुझे नीचे तड़क पर बुरी तरह कस लिया।

मैं रूक और कहा, ‘‘क्या हुआ? दर्द हुआ।’’

इस पर सोनिया मजाक में बोली, ‘‘नहीं. नहीं.. मुझे क्यों दर्द होगा। मैंने तो बहुत सारे तोते अपने घोंसले में दाना चुगने के लिए छुड़वायें हैं न?’’

इस पर मुझे भी हंसी आ गई। लेकिन ये क्या मेरा तोता, सोनिया के घोंसले में घुस तो गया था। लेकिन तोता प्यार के दाने चुग नहीं पा रहा था। यानि घुसते ही तोता फिर से बेजान हो गया था। सोनिया बोली, ‘‘क्या हुआ रूक क्यों गए?’’ वो बेतहाशा नीचे से उचक-उचक कर कह रही थी, ‘‘तुम ढीले क्यों पड़ गये। कहो न अपने तोते से दाना चुगने के लिए। अभी तो मेरे घोंसले में बहुत दाने हैं।’’

फिर एकाएक सोनिया ने भी महसूस किया कि मेरे तोते की पकड़ ढीली हो चुकी थी। दानें उसकी चोंच से छूटते जा रहे थे। इस पर सोनिया बौखलाने लगी। वो मुझसे भी ज्यादा गरम हो चुकी थी। मानों आज वह अपनी लाज लुटवाने पर आमादा थी। लेकिन मेरे तोते से कुछ नहीं हो पा रहा था।

इस पर सोनिया ने मुझे फिर से बिस्तर पर पटका और एक बार फिर से मेरे तोते को अपने मुंह की गरमी से प्यार का ऑक्सीजन देने लगी। फिर जैसे ही थोड़ी सी जान तोते में आई। सोनिया लपक कर मेरे ऊपर आ गई और मेरे तोते को अपनी अंधेरी पनाह में लेने की कोशिश करने लगी।

लेकिन तोता थोड़ा-सा ही अंदर जाता और चक्कर-सा खाता हुआ लुढ़क जाता। अब सोनिया समझ गई कि आगे कुछ नहीं होने वाला है। उसने सिर पकड़ा और अपने कपड़े पहनने शुरू कर दिये। मैं सामने ही लेटा चुपचाप देखता रहा। कुछ कहने लायक जो नहीं था। मैं इतना शर्मिन्दा महसूस कर रहा था कि क्या बताऊं।

मैंने सोनिया की आग को भड़का तो दिया था। लेकिन शांत नहीं कर पाया था। सोनिया ने मुझसे एक शब्द नहीं कहा और चुपचाप अपने कपड़े पहने और वहां से चली गई।

जोश, जाकत, जवानी और सेक्स पॉवर बढ़ाकर औरत को करें पूरी तरह संतुष्ट। अपनाएं आयुर्वेदिक दवा- जोशटिक(JoshTik)

Sex Power Badhane Ki Ayurvedic Dawa - JoshTik
Sex Power Badhane Ki Ayurvedic Dawa – JoshTik

अपनी बात खत्म करके धीरज ने मुझसे भावुक आवाज में कहा, ‘‘यार विरेन सच कह रहा हूं। मुझे इस बात का अफसोस बिल्कुल नहीं था कि होटल का किराया बेकार चला गया। मैं तो ये सोचकर ज्यादा दुखी हूं कि मैं सोनिया को खुश नहीं कर पाया। कितनी ढींगे हांकता तो ये करूंगा, वो करूंगा मौका मिलेगा तो फाड़ कर रख दूंगा। मगर नामर्द निकला तेरा यार।’’ कहकर धीरज ज्यादा भावुक हो गया।

फिर मैंने जब उसे शांत करते हुए समझाया और कारण पूछा, तब उसने बताया कि, ‘‘वो 17 साल की उम्र से हस्तमैथुन कर रहा था। जिसके कारण उसकी लिंग की नसें कमजोर हो चुकी हैं या फिर हो सकता है पूरी तरह मर चुकी हैं। जिसके कारण ही उसके लिंग में तनाव आना बंद हो चुका है। नसें भी उभरी हुई हैं। लिंग की मोटाई भी कम रह गई। साइज भी इतना नहीं बढ़ पाया है। हमेशा लिंग ढीला रहता है।’’

‘‘तुझे कैसे पता कि ये सब हस्तमैथुन के कारण ही है?’’ मैंने धीरज से पूछा।

‘‘क्योंकि कई बार हस्तमैथुन के दौरान भी मेरे लिंग में पूरा तनाव नहीं आता था। जब एक-दो बार ऐसा हुआ, तब मैंने इंटरनेट पर में इसका जवाब ढूंढा तो मुझे पता चला कि कई कारणों के साथ-साथ हस्तमैथुन भी एक बहुत बड़ा कारण होता है। लिंग में टाईटपन नहीं आने का।

‘‘ओह! तो ये बात है।’’ मैंने भी एक गहरी सांस लेकर कहा, ‘‘तो अब क्या करेगा?’’

‘‘क्या करूंगा अब हिलाऊंगा जिंदगी भर और क्या?’’ दुखी मन से बोला धीरज, ‘‘प्रेमिका या पत्नी रखकर क्या करूंगा अब मैं?’’

उसने इतना कहा और मैं खूब जोर-जोर से हंसने लगा। इस पर धीरज चिढ़कर बोला, ‘‘अबे डीकेबॉस! तू भी मेरी नामर्दी पर हंस रहा है?’’

मैंने अपनी हंसी रोकी और कहा, ‘‘अबे भूतिए नहीं। तेरी बेवकूफी पर हंस रहा हूं।’’ फिर मैंने आगे बताया, ‘‘अबे मेरे बडे़ भाई को तो तू जानता ही है। मुझसे 6 साल बड़ा है। लेकिन हम दोनों आपस में बहुत फ्रैंक हैं। हर तरह की बातें खुलकर करते हैं। जैसे तू और मैं करते हैं।’’

‘‘हां तो।’’

‘‘अबे तो ये कि लगभग 2 या 2 महीने पहले मेरे बड़े भाई के एक दोस्त के साथ भी बिल्कुल यही समस्या थी। उसने भी तेरी ही तरह अपने ही हाथों से अपने सामान की बैंड बजा दी थी।’’ और मजे की बात सुन।’’

मैं भी चटखारे लेकर बताने लगा, ‘‘तू तो फिर भी कुंवारा है। एक बार में जान छूट गई। लेकिन वो बेचारा तो शादीशुदा था। बिल्कुल खड़ा नहीं होता था। रोज बीवी से झगड़े बहस। लेकिन आज देख पूरी तरह ठीक है। मेरा भाई बताता है कि आज सारी रात बीवी के साथ पलंग तोड़ है वो।’’

‘‘अच्छा।’’ धीरज का जोश बढ़ने लगा, ‘‘तो फिर वो ठीक कैसे हुआ था? प्लीज बताना यार।’’

फिर मैंने ही धीरज को बताया, जो मेरे बड़े भाई ने मुझे बताया था, ‘‘उस दोस्त ने एक दिन यूट्यूब पर एक आयुर्वेदिक प्रोड्क्ट ‘पेनीवेन’ की एड देखी थी। जोकि लिंग की समस्या के लिए ही विशेष रूप से बनाई गई थी। बहुत ही किफायती और असरदार लग रही थी।’’

Ling Ko Tight Lamba Or Mota Karne Ki Heerbal Medicine - Penivein
Ling Ko Tight Lamba Or Mota Karne Ki Heerbal Medicine – Penivein

‘‘तो फिर?’’ धीरज का उत्साह बढ़ने लगा।

‘‘फिर क्या, मरता क्या ना करता? उसने फौरन दवा ऑर्डर कर दी।’’

‘‘तो क्या वो एकदम से ठीक हो गया?’’ धीरज ने धीरज खोते हुए पूछा।

मैंने कहा, ‘‘भाई वो भी तेरी तरह बहुत सालों से हाथों से मजे ले रहा था। जिसकी सजा थोड़ी लंबी थी।’’

‘‘मतलब मैं समझा नहीं।’’ धीरज ने पूछा।

तो मैंने भी बताया, ‘‘अबे घोड़ू मतलब ये कि पहले उसने एक महीने की दवा मंगवाई। लेकिन उसकी समस्या बहुत बड़ी थी और पुरानी थी। इसलिए उसे ठीक होने में भी थोड़ा समय लगा। उसने दो महीने का पेनीवेन का कोर्स और ऑर्डर किया और पूरी तरह ठीक हो गया।’’

‘‘अरे वाह क्या बात है।’’ धीरज चहकर बोला।

मैंने कहा, ‘‘और सुन भाई बताता है कि आज उसका वो दोस्त, दो बच्चों का बाप भी बन चुका है।’’

फिर क्या था.. दोस्तों। धीरज ने भी समय नहीं गंवाया और समय रहते आयुर्वेदिक दवा पेनीवेन ऑर्डर कर दिया। सबसे अच्छी बात यह थी कि यहां दवा मंगाने वाले का नाम भी गुप्त रखा जाता था। इसलिए धीरज को कोई समस्या नहीं हुई।

क्या आपके लिंग में तनाव नहीं आता? साइज छोटा है? मोटाई कम है? लिंग की नसें कमजोर हो चुकी हैं? ज्यादा हस्तमैथुन करके लिंग में टेढ़ापन आ गया है? शीघ्रपतन हो जाता है? तो अपनाएं प्राकृतिक जड़ी-बूटियों से बनी शुद्ध आयुर्वेदिक दवा पेनीवेन (Penivein)।

PENIVEIN (herbal medicine) Ling Ke Ilaj Ke Liye Best Dawa
PENIVEIN (herbal medicine) Ling Ke Ilaj Ke Liye Best Dawa

दोस्तों आखिर में एक राज की बात और बताऊं आज इस बात को काफी समय हो गया है। मेरी और धीरज दोनों की शादीयां हो चुकी हैं। जो गर्लफ्रैंड कभी धीरज को होटल में अकेला छोड़कर चली गई थी। आज वही सोनिया जिंदगी भर का साथ निभाने का वादा करके मेरे यार यानी धीरज का घर बसा रही है। सुना है अब हर रात सोनिया की चीखें निकलवा देता है मेरा यार।

तो दोस्तों ये थी धीरज की नामर्द से मर्द बनने की गरमा गरम दास्तान। कहानी सुनकर जरा भी पैंट में हलचल हुई हो, तो इसे रंगीन मिजाज दोस्तों तक जरूर शेयर कीजिएगा।

बाकी दोस्तों ये हॉट कहानी आपको कैसी लगी हमें कमेंट्स जरूर किजिएगा। आगे आप हमसे कैसी कहानी चाहते हैं सुहागरात, देवर-भाभी, जीजा-साली, पड़ोसन आदि, तो ये भी हमें कमेंट्स में जरूर बताइएगा। साथ ही अगर आपको शीघ्रपतन, कमजोर ब्वॉयफ्रैंड, कैसी समस्या पर स्टोरी चाहिए जरूर कमेंट्स कीजिएगा। धन्यवाद।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here